रूस-यूक्रेन ड्रोन हमला: एक रणनीतिक मोड़
1 जून, 2025 को, यूक्रेन ने रूस के भीतर स्थित कई रणनीतिक हवाई अड्डों पर एक समन्वित ड्रोन हमला किया, जिससे वर्तमान संघर्ष में एक नया अध्याय शुरू हुआ।
🎯 लक्ष्य और दावे
41 रूसी विमानों को निशाना बनाया गया। हमलों में एंगेल्स एयरबेस और मोरोजोवस्क एयरफील्ड जैसे महत्वपूर्ण सैन्य ठिकाने शामिल थे। सूत्रों के अनुसार, “Ukrjet UJ-22” जैसे लंबी दूरी तक उड़ने वाले ड्रोन का उपयोग किया गया।
“यह सिर्फ एक हमला नहीं था, यह रूस की रणनीतिक हवाई क्षमता पर एक संगठित हमला था।” – यूक्रेनी SBU सूत्र
यूक्रेन ने रूस के चार एयरबेस पर ड्रोन हमले किए, जिसमें 41 रूसी बॉम्बर विमानों को निशाना बनाया गया। इस ऑपरेशन, जिसे "वेब" नाम दिया गया, में यूक्रेन की सुरक्षा सेवा (SBU) ने एक-डेढ़ साल की योजना के बाद सटीक हमले किए। हमले में A-50, Tu-95, और Tu-22 M3 जैसे रूसी बॉम्बर विमानों को नष्ट करने का दावा किया गया। यह हमला रूसी सैन्य क्षमता को कमजोर करने के लिए महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
🔥 रूस की प्रतिक्रिया
रूस के रक्षा मंत्रालय ने हमलों की पुष्टि की और दावा किया कि अधिकांश ड्रोन को S-400 और Pantsir मिसाइल सिस्टम द्वारा इंटरसेप्ट कर लिया गया। हालांकि कुछ बेसों को आंशिक नुकसान हुआ है, जिसका आकलन किया जा रहा है। क्रेमलिन ने इसे "यूक्रेन की ओर से उकसावे की कार्रवाई" बताया।
🕰️ समय की रणनीति
यह हमला ऐसे समय में हुआ है जब रूस की सेना बेलारूस सीमा के पास एक नए आक्रमण की तैयारी कर रही थी और नाटो समिट की पूर्व संध्या पर पश्चिमी देशों का ध्यान खींचना यूक्रेन की रणनीति हो सकती है।
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| यूक्रेन का रूस पर ड्रोन हमलें। |
📊 रणनीतिक प्रभाव
यदि यूक्रेन के दावे सही हैं, तो यह हमला रूस की हवाई क्षमता को कमजोर कर सकता है। नीचे तालिका में संभावित हानि का विवरण:
| हवाई अड्डा | क्षतिग्रस्त विमान | प्रभाव |
|---|---|---|
| एंगेल्स | 12 | रणनीतिक बमवर्षक की कमी |
| मोरोजोवस्क | 15 | Su-34 लड़ाकू विमानों की हानि |
🔁 संभावित प्रतिक्रियाएँ
- रूस द्वारा बड़े पैमाने पर सैन्य प्रतिशोध
- साइबर हमले और सूचना युद्ध की तीव्रता
- अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर यूक्रेन के खिलाफ कूटनीतिक प्रयास
🌐 अंतर्राष्ट्रीय समुदाय की भूमिका
यह घटना पश्चिमी देशों पर यूक्रेन को और अधिक सहायता देने का दबाव डाल सकती है। अमेरिका और यूरोपीय संघ से रक्षात्मक हथियारों, एयर डिफेंस और ISR (Intelligence, Surveillance, Reconnaissance) सपोर्ट की मांग बढ़ सकती है। नाटो भी इस हमले को रूस के खतरे की पुष्टि के रूप में देख सकता है।
🔮 निर्णायक
यह ड्रोन हमला न केवल सैन्य दृष्टिकोण से, बल्कि भू-राजनीतिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण है। इससे युद्ध का स्वरूप बदल सकता है – एक ओर रूस की सामरिक नींव पर प्रहार, दूसरी ओर यूक्रेन की रणनीतिक बढ़त।


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