लेखक: AamCharcha विश्लेषक टीम
तारीख: 20 मई 2025
दिल्ली की गर्मी में जब IPL 2025 अपने आख़िरी पड़ाव की ओर बढ़ रहा था, तब राजस्थान रॉयल्स (RR) ने अपने आख़िरी लीग मुक़ाबले में चेन्नई सुपर किंग्स (CSK) को 6 विकेट से हराकर न सिर्फ़ टूर्नामेंट का सुखद समापन किया, बल्कि भविष्य की झलक भी दिखा दी – और इस झलक का नाम है: वैभव सूर्यवंशी।
टॉस की चाल
टॉस की चाल और RR की आक्रामक शुरुआत
राजस्थान के कप्तान संजू सैमसन ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाज़ी का फ़ैसला किया – एक फैसला जो शायद CSK को हल्का लगा हो, लेकिन युद्धवीर सिंह ने अपनी रफ्तार और सटीकता से उसे सही ठहराया। पहले ही ओवर में दो विकेट लिए।
कॉन्वे और पटेल – CSK की कमर तोड़ने के लिए काफी थे।
हालांकि युवा बल्लेबाज़ आयुष म्हात्रे ने कुछ देर तक संघर्ष करते हुए 20 गेंदों में 43 रनों की तूफ़ानी पारी खेली, लेकिन RR के तेज़ गेंदबाज़ों ने CSK की पारी को कभी भी गति नहीं पकड़ने दी।
ब्रेविस और दुबे की साझेदारी: अस्थायी राहत
CSK के लिए डेवाल्ड ब्रेविस (42) और शिवम दुबे ने 50+ रनों की साझेदारी करके पारी को सम्मानजनक स्कोर तक पहुँचाया। लेकिन ये साझेदारी भी बहुत देर तक टीम को जीत की ओर नहीं ले जा सकी। कुल स्कोर 187/8 रहा – इस विकेट पर प्रतिस्पर्धी, लेकिन असाधारण नहीं।
युद्धवीर और मधवाल – भविष्य के भारत के पेस ट्विन्स?
इस मैच ने एक बार फिर साफ़ कर दिया कि RR की गेंदबाज़ी क्यों इतनी खतरनाक मानी जाती है। युद्धवीर सिंह (3/47) और आकाश मधवाल (3/29) ने पावरप्ले से लेकर डेथ ओवर तक दबाव बनाए रखा। दोनों गेंदबाज़ों ने विकेट लिए और रन रोके – T20 में यही संतुलन जीत दिलाता है।
RR की जवाबी पारी: सूर्यवंशी की चमक
जवाब में जब यशस्वी जायसवाल ने शुरुआत से ही हमलावर तेवर दिखाए (19 गेंदों में 36 रन), तब लगा कि यह एक तेज़ चेज़ हो सकता है। लेकिन जब वह आउट हुए और स्कोरबोर्ड पर 37 रन था, तब स्ट्राइक पर वैभव सूर्यवंशी थे – जिन्होंने तब तक सिर्फ़ 1 रन बनाया था।
वैभव सूर्यवंशी – नाम याद रखिएगा
33 गेंदों में 57 रन, जिसमें चार चौके और चार छक्के – लेकिन सिर्फ आँकड़ों से इस पारी की महत्ता को नहीं मापा जा सकता। सूर्यवंशी ने न सिर्फ़ मैच को नियंत्रित किया, बल्कि संजू सैमसन के साथ 98 रनों की साझेदारी कर मैच को लगभग ख़त्म कर दिया। यह साझेदारी एक तरफ़ अनुभव और दूसरी तरफ़ उभरते आत्मविश्वास की कहानी थी।
सैमसन ने 31 गेंदों में 41 रन बनाए – कप्तान की ज़िम्मेदारी और स्थिरता का परिचय।
अश्विन की झलक, लेकिन देर हो चुकी थी
एक ओवर में जब आर अश्विन ने दोनों सेट बल्लेबाज़ों – सैमसन और सूर्यवंशी – को आउट कर दिया, तब लगा कि शायद CSK मैच में वापसी कर पाए। लेकिन CSK के गेंदबाज़ों की धीमी गति और असंगत लाइन-लेंथ ने उन्हें पूरी तरह मैच से बाहर रखा।
ध्रुव जुरेल – एक फ़िनिशर की तरह उभार
जहां सूर्यवंशी ने बुनियाद रखी, वहीं ध्रुव जुरेल ने उस इमारत को पूरे आत्मविश्वास के साथ खड़ा किया। सिर्फ़ 12 गेंदों में 31 रन बनाकर उन्होंने यह सुनिश्चित किया कि कोई भी उलटफेर संभव न हो।
यह पारी दिखाती है कि RR के पास सिर्फ़ टॉप ऑर्डर नहीं, बल्कि मिडिल और लोअर ऑर्डर में भी विस्फोटक बल्लेबाज़ मौजूद हैं।
चिंता की बात: CSK का अंत और भविष्य की सोच
IPL 2025 का अंत CSK के लिए काफी निराशाजनक रहा। उनके पास अनुभव था, लेकिन न तो स्पिनरों में धार दिखी, न ही युवा बल्लेबाज़ों में स्थिरता। आयुष म्हात्रे को छोड़कर कोई भी शीर्ष क्रम स्थायी नहीं दिखा। गेंदबाज़ी में भी अश्विन अकेले पड़ गए।
CSK को अगली नीलामी में युवा तेज़ गेंदबाज़ों और एक भरोसेमंद फ़िनिशर की तलाश करनी होगी। धोनी की अनुपस्थिति में नेतृत्व भी कमजोर दिखा।
सूर्यवंशी की दस्तक, RR का भविष्य उज्जवल
IPL 2025 का आख़िरी मैच RR के लिए सिर्फ़ एक जीत नहीं था – यह एक घोषणा थी। वैभव सूर्यवंशी की दस्तक सिर्फ़ चेन्नई की हार नहीं, बल्कि पूरे लीग को यह संदेश था कि आने वाले सीज़नों में राजस्थान रॉयल्स को हल्के में नहीं लिया जा सकता।
और शायद – IPL को अब एक नया सितारा मिल गया है, जो अगले दशक तक चमकता रहेगा।
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